कांग्रेस की नई कार्यकारिणी पर भाजपा का वार
भोपाल, 20 अगस्त 2025।
मध्यप्रदेश की राजनीति में कांग्रेस द्वारा हाल ही में घोषित की गई नई कार्यकारिणी और जिला अध्यक्षों की नियुक्ति को लेकर बवाल मच गया है। कांग्रेस ने अपने संगठन को मजबूत करने और आने वाले चुनावों की तैयारियों को देखते हुए नई कार्यकारिणी की घोषणा की थी। लेकिन इस सूची के सामने आते ही विपक्षी दल भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने कांग्रेस पर सीधा हमला बोला है।
भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता राजपाल सिंह ने कहा कि कांग्रेस ने जिला अध्यक्षों और पदाधिकारियों की नियुक्ति में जिस तरह से वरिष्ठ और जमीनी कार्यकर्ताओं की अनदेखी की है, उससे यह साफ जाहिर होता है कि पार्टी में गुटबाज़ी, परिवारवाद और पसंद-नापसंद की राजनीति हावी है।
“संगठन में मतभेद साफ दिखाई देते हैं”
राजपाल सिंह ने कांग्रेस नेतृत्व पर सीधा निशाना साधते हुए कहा कि जिस पार्टी का संगठन ही बंटा हुआ हो और जिसमें निर्णय केवल कुछ गिने-चुने नेताओं की मर्जी पर लिए जाते हों, वह जनता के बीच भरोसेमंद कैसे हो सकती है। उन्होंने कहा – “नई कार्यकारिणी देखकर साफ है कि कांग्रेस के अंदर गहरे मतभेद हैं। कई पूर्व विधायक, मंत्री और लंबे समय से सक्रिय नेताओं की अनदेखी कर केवल हाईकमान की नज़दीकी वाले लोगों को पद दे दिए गए हैं।”
भाजपा प्रवक्ता का दावा – जनता को कोई असर नहीं
भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि कांग्रेस की इस कवायद का जनता पर कोई असर नहीं होने वाला है। उनका कहना था कि चुनावी राजनीति में केवल सूची जारी कर देने या नाम बदल देने से संगठन मजबूत नहीं होता। “जनता अब सब समझती है। कांग्रेस का यह प्रयोग केवल दिखावा है और चुनाव आते-आते यह कार्यकारिणी खुद बिखर जाएगी,” उन्होंने कहा।
भाजपा की पारदर्शिता पर जोर
राजपाल सिंह ने भाजपा के संगठनात्मक ढांचे की तुलना करते हुए कहा कि भारतीय जनता पार्टी हमेशा अपने कार्यकर्ताओं को महत्व देती है। पार्टी में निर्णय पारदर्शी तरीके से लिए जाते हैं और कार्यकर्ताओं की मेहनत और योगदान को देखा जाता है। उन्होंने कहा कि यही वजह है कि भाजपा लगातार जनता के बीच मजबूत बनी हुई है और कांग्रेस दिन-ब-दिन कमजोर होती जा रही है।
कांग्रेस पर परिवारवाद का आरोप
भाजपा प्रवक्ता ने कांग्रेस पर एक बार फिर परिवारवाद को बढ़ावा देने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि नई कार्यकारिणी में कई ऐसे चेहरे शामिल किए गए हैं जो संगठन से ज़्यादा किसी खास गुट या नेता के करीबी हैं। ऐसे में कांग्रेस की यह टीम कार्यकर्ताओं का प्रतिनिधित्व नहीं करती, बल्कि केवल नेतृत्व की पसंद का प्रतीक है।
राजनीतिक हलकों में चर्चा
कांग्रेस की नई कार्यकारिणी और उस पर भाजपा की प्रतिक्रिया को लेकर राजनीतिक हलकों में तेज चर्चा है। एक ओर कांग्रेस का दावा है कि यह सूची संगठन को और मजबूत करेगी और सभी वर्गों को प्रतिनिधित्व देगी, वहीं भाजपा इसे कांग्रेस की कमजोरी और गुटबाज़ी का प्रमाण बता रही है।
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि भाजपा और कांग्रेस दोनों ही आगामी विधानसभा चुनावों की तैयारियों में जुटी हैं। ऐसे में संगठनात्मक नियुक्तियां और उन पर हो रही बयानबाज़ी आने वाले समय में चुनावी माहौल को और गरमाने का काम करेंगी।
कांग्रेस की नई कार्यकारिणी को लेकर विपक्ष पूरी तरह आक्रामक
भाजपा प्रवक्ता राजपाल सिंह के बयान से यह साफ है कि कांग्रेस की नई कार्यकारिणी को लेकर विपक्ष पूरी तरह आक्रामक रुख अपनाए हुए है। अब देखना यह होगा कि कांग्रेस अपने संगठनात्मक ढांचे को लेकर उठ रहे सवालों का कैसे जवाब देती है और जनता के बीच किस तरह भरोसा कायम करती है।
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